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Gujrat Ke Nath is written by K. m. munshi and published by Vani prakashan. Buy Gujrat Ke Nath by K. m. munshi from markmybook.com. An online bokstore for all kind of fiction, non fiction books and novels of English, Hindi & other Indian Languages.
गुजराती के सुप्रसिद्ध कथाकार, इतिहास और संस्कृति के मर्मज्ञ तथा प्राच्य विद्या के बहुश्रुत विद्वान।
जन्म: 30 दिसम्बर, 1887, भड़ौच (गुजरात)।
शिक्षा: बी.ए., एल-एल.बी., डी.लिट्., एल-एल.डी.।
प्रारम्भ (1915) में ‘यंग इंडिया’ के संयुक्त संपादक, सन् 1938 से आजीवन, भारतीय विद्या भवन के अध्यक्ष और ‘भवन्स जर्नल’ के संपादक। सन् 1937-57 के दौरान दस वर्षों तक गुजराती साहित्य परिषद की अध्यक्षता की। सन् 1944 में हिंदी साहित्य सम्मेलन के अध्यक्ष। सन् 1951 से मृत्युपर्यंत वह संस्कृत विश्व परिषद के भी अध्यक्ष रहे। सन् 1952 से 1957 तक उत्तर प्रदेश के राज्यपाल का पद-भार सँभाला। उसी दौरान सन् 1957 में उन्होंने भारतीय इतिहास कांग्रेस की अध्यक्षता की।